स्टडी: फैल रहा है कोरोना का नया म्यूटेशन, कर सकता है मास्क-सोशल डिस्टेंस को बेअसर

स्टडी: फैल रहा है कोरोना का नया म्यूटेशन, कर सकता है मास्क-सोशल डिस्टेंस को बेअसर

सेहतराग टीम

कोरोना का कहर थमने का नाम नहीं ले रहा है। पूरी दुनियाभर के वैज्ञानिक कोरोना के प्रसार को रोकने के लिए और इसके बारे में और अधिक जानने के लिए रिसर्च कर रहे हैं। अब एक्सपर्ट्स ने एक नई स्टडी के बाद कहा है कि कोरोना वायरस म्यूटेट कर रहा है और इसी के जरिए ज्यादातर नए केस सामने आ रहे हैं। वैज्ञानिकों ने कहा है कि वायरस का नया रूप मास्क और सोशल डिस्टेंसिंग को भी मात दे सकता है।

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वॉशिंगटन पोस्ट में छपी रिपोर्ट के मुताबिक, अब तक की सबसे बड़ी आनुवांशिक स्टडी में पता चला है कि अमेरिका के टेक्सास के ह्यूस्टन में कोरोना की दूसरी लहर के दौरान 99.9 फीसदी केस कोरोना के नए म्यूटेशन D614G वाले ही हैं। कोरोना वायरस के नए स्ट्रेन D614G को लेकर पहले भी जानकारी सामने आ चुकी है, लेकिन नई स्टडी में वैज्ञानिकों ने नए म्यूटेशन के बारे में अतिरिक्त जानकारी दी है।

बुधवार को यह स्टडी MedRxiv जर्नल में प्रकाशित की गई है। नए म्यूटेशन को अधिक संक्रामक, लेकिन तुलनात्मक रूप से कम जानलेवा बताया गया है रिसर्चर्स का कहना है कि ऐसा लगता है कि कोरोना वायरस ने नए माहौल में खुद को ढाल लिया है जिससे यह सोशल डिस्टेंसिंग, हैंड वॉशिंग और मास्क को भी मात दे सकता है।

अमेरिका के नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ एलर्जी एंड इंफेक्शस डिजीज के वायरोलॉजिस्ट डेविड मॉरेंस का कहना है कि नया वायरस अधिक संक्रामक हो सकता है जिससे कोरोना को काबू करने के प्रयासों पर भी असर पड़ सकता है। इसके अलावा अमेरिका की शिकागो यूनिवर्सिटी और टेक्सास यूनिवर्सिटी की टीम को स्टडी के दौरान यह भी पता चला कि नए म्यूटेशन से संक्रमित लोगों में वायरल लोड अधिक होता है। इसकी वजह से ऐसे लोग अधिक संक्रमण फैला सकते हैं।

 

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